(अमन न्यूज़) इस बार बिहार विधानसभा चुनाव में चचरी पुल बड़ा मुद्दा बन सकता है. क्योंकि पिछले कई दशकों से बिहार के नेता अपने इलाकों में जाते हैं वादे करते हैं लेकिन पूरा नहीं करते. इस बार बांस की खपच्चियों से बने चचरी पुल बड़ी दिक्कत कर सकते हैं. निर्माण की लंबित मांग की अनदेखी राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों पर भारी पड़ सकती है. औराई और कटरा के लोगों के मुताबिक इस बार यहां की जनता आने वाले चुनाव में नेताओं को सबक सिखाएगी. जब तक पुल का निर्माण नहीं होगा तब तक वोट नहीं दिया जाएगा.
मुजफ्फरपुर के 5 गांवों के लोग वोट का बहिष्कार करेंगे. इन गांवों में करीब 30 हजार लोग रहते हैं. चचरी पुल के बगैर मुजफ्फरपुर के औराई और कटरा के लोगों का जवीन ही नहीं चल सकता. साल के 7 से 8 महीने यहां के लोगों का आवागमन चचरी पुल से ही होता है. औराई विधानसभा क्षेत्र के सुंदर खौली गांव में आज पुल का निर्माण नहीं हो सका. लोग चंदा इकट्ठा कर वहां से बने चचरी पुल के सहारे आवागमन कर रहे हैं.
स्थानीय लोगों का कहना है कि इस बार भी चुनाव में चचरी का मुद्दा रहेगा. हर बार पुल के झांसा देकर वोट करवा दिया जाता है, लेकिन चुनाव के बाद इस गांव की तरफ कोई झांकने तक नहीं आता. चचरी पुल पार कर रही बुजुर्ग महिला चंद्र कला देवी ने बताया कि हर साल नेता पुल बनवाने की बात कह कर वोट लेकर चले जाते हैं. उसके बाद इस गांव को भूल जाते हैं, लेकिन इस बार 5 गांव की जनता आने वाले चुनाव में नेताओं को सबक सिखाएगी.
ग्रामीण कहते हैं कि जब तक पुल का निर्माण नहीं होगा तब तक वोट नहीं दिया जाएगा. 5 गांव के लोग वोट का बहिष्कार करेंगे. वहीं दूसरी महिला शांति चौधरी ने बताया कि यहां आजादी से लेकर आज तक लोग चचरी पुल पर आवागमन करते हैं. बहुत सारे नेता आए और पुल बनवाने की बात कही, लेकिन आज तक यहां पुल का निर्माण नहीं हो सका. हम लोगों का भी परेशानी होती है. पुल से गिरने और दुर्घटना होने की भी संभावना बनी रहती है.
औराई विधानसभा क्षेत्र दो प्रखंडों औराई व कटरा की 42 पंचायतों को मिलाकर बना है. इनमें औराई की 26 एवं कटरा की 16 पंचायतें शामिल हैं. जिले की सर्वाधिक 5.14 लाख की आबादी वाले इस विधानसभा क्षेत्र में मतदाताओं की संख्या 2.76 लाख है, जिसमें पुरुष मतदाता 1.49 लाख एवं महिला मतदाता 1.27 लाख हैं.
चचरी पुल को लेकर वोट बहिष्कार के सवाल पर एसडीएम ईस्ट डॉक्टर कुंदन कुमार ने बताया कि जो हमारे प्रमुख स्थल है. जहां पर चिह्नित रूप से पीडब्ल्यू रिंग रोड गई हुई है या आरडब्ल्यू की भी रोड गई हुई है. उसको चिह्नित करके हम पुल का चिन्हीकरण कर रहे हैं.
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